Sunday 26 June 2011

~~~आइना~~~

क्या हु-ब-हु मै हीं दिखता हूँ,
आईने के उसपार भी.....!



क्या मेरा हमशक्ल हमआइना...
मुझे देखता होगा इसपार भी.....!!




उसके दर्द मुझे दिख जाते हैं,
गर होता है आईने में एक दरार भी.....!



पर क्या वो मेरा दर्द देखता होगा...
एकबार भी.....!!


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